Krishna Janmashtami Images, Quotes and Muhurth | कृष्ण जन्माष्टमी कब है, जाने पूजा विधि और मुहूर्त
प्रत्येक वर्ष की भांति इस वर्ष भी Janmashtami सम्पूर्ण विश्व मे बड़े धूमधाम से मनाई जाएगी। लेकिन इस वर्ष लोग इस बात पर संसय में है कि कृष्ण जन्माष्टमी कब है। इसलिए हम इस आर्टिकल में Krishna Janmashtami के बारे में सम्पूर्ण जानकारी उपलब्ध कराएंगे।
[TOC]
इस वर्ष जन्माष्टमी 26 August 2024 को के 03:41 AM पर शुरू हो रही है, और अगले दिन 02:22 AM पर अष्टमी तिथि समाप्त ही रही है।
krishna janmashtami images
Krishna Janmashtami Images |
Krishna Janmashtami Images |
Krishna Janmashtami Images |
Krishna Janmashtami Images |
Krishna Janmashtami Images |
Krishna Janmashtami Images |
कृष्ण जन्माष्टमी पूजा मुहूर्त 2024
26 August को रात के 03:41 AM से अगले दिन 02:22 AM तक कृष्ण जन्माष्टमी का शुभ मुहूर्त बन रहा है। इसी समय भगवान कृष्ण की पूजा करना उत्तम होगा।
कृष्ण जन्माष्टमी पूजा विधि 2024
कृष्ण जन्माष्टमी हिन्दू धर्म के महत्वपूर्ण त्योहारों में से एक है, जिसे भगवान कृष्ण के जन्मदिन के रूप में मनाया जाता है। यह त्योहार भक्तों के लिए आनंद मौका प्रदान करता है।
पूजा सामग्री की तैयारी:
- भगवान कृष्ण की मूर्ति या फोटो
- दुध, मक्खन, दही, घी, शक्कर
- पूजा सामग्री: दीपक, बत्ती, अगरबत्ती, धूप, गंगा जल, तुलसी पत्ता, कुश घास, कुशावर्त, रंगोली, फूल, फल, सुपारी, इलायची, लौंग, कुमकुम, अबीर, गुड़, फूलमाला
कृष्ण जन्माष्टमी की पूजा की पांचों विधियाँ
- अवाहन,
- आसन,
- स्नान,
- वस्त्र,
- आभूषण
पूजा की विधि:
- मन्दिर की सजावट - घर के मंदिर को सजाने के लिए तुलसी पत्ता, फूल, रंगोली आदि का उपयोग करें।
- देवता का आवाहन- पूजा की शुरुआत में भगवान कृष्ण की मूर्ति या फोटो को एक विशेष आसन पर स्थापित करें
- अभिषेक और स्नान- भगवान कृष्ण की मूर्ति को पानी, दूध, दही, घी, और शर्करा से स्नान कराएं। इसके बाद सुखद अन्न और मिश्रित प्रसाद चढ़ाएं।
- पूजा आराधना- धूप, दीप, अगरबत्ती, फूल, तुलसी पत्ता, फल, फूलमाला, इलायची, लौंग, कुमकुम, अबीर आदि का पूजा की आराधना के साथ उपयोग करें
- कथा पाठ- भगवान कृष्ण के जन्म की कथा का पाठ करें और उनके लीलाओं को याद करें।
- भगवान कृष्ण के भजन- कृष्ण जन्माष्टमी पर भगवान कृष्ण के भजन गाने या सुने।
- रात्रि का जागरण- रात के विशेष समय पर भगवान कृष्ण के लाइला गाने या सुनने के साथ जागरण करें।
Also Read...